बाबैन, 25 मार्च (सुरेश अरोड़ा) : वैश्विक महामारी कोरोना पर पूर्णत: काबू पाने की मुहिम में जारी लॉकडाउन से बुधवार को फिर से बाबैन में रविवार 22 मार्च जैसा सन्नाटा देखने को मिला और यह कारनामा हुआ है जिला प्रशासन की मुस्तैदी व पुलिस के डन्डे की बदौलत। ज्ञात रहे कि कोरोना बीमारी से निपटने के लिए सरकार व प्रशासन ने 31 मार्च तक लॉकडाउन किया था जिसका पहला चरण 22 मार्च दिन रविवार था और इस दिन लोगों ने जागरूकता दिखाते हुए पूरा दिन घरों में रहकर वाहावाही लूटी थी परन्तु सोमवार व मंगलवार को लोग फिर से घरों से बाहर आए और पहले जैसे खस्ताहालत पैदा कर दिए जिससे सरकारों व प्रशासन को लगा कि लोगों पर नरमाई नहीं सख्ती करनी पड़ेगी। जिस कारण से देश प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को फिर से अपने राष्ट्र संबोधन में लोगों से घरों में रहने की अपील की और आगामी 21 दिनों तक कफ्र्य घोषित कर दिया। इसी कड़ी में बुधवार को ही जिला प्रशासन सर्तक दिखा और स्थानीय पुलिस ने भी अपना कड़ा रूख अख्तियार किया। बाबैन में प्रशासन के निर्देशानुसार सुबह के 8 बजे से लेकर महज 11 बजे तक करियाणे, सब्जी, फलों, दूध, दवाइयों की दुकानें खुली रही और सभी दुकानों पर ग्राहकों की भीड़ लगी रही और सडकों पर भी भारी रश देखने को मिला परन्तु 11 बजे के बाद जैसे ही डीएसपी लाडवा भारत भूषण के दिशा-निर्देशानुसार स्थानीय पुलिस ने दुकानदारों की दुकानें बंद करवाई तो लोग अपने-अपने घरों की ओर कूच करने लगे। यही नहीं जो राहगीर अकारण तमाशा देखने के लिए खड़े थे और खाली घूम रहे थे उन पर पुलिस ने अपना सख्त रवैया अपनाया और शाम 5 बजे तक पूरा बाबैन, कलोनियां, गांव व सडकें तथा ग्रामीण क्षेत्र सुनसान नजर आया।
ड्यूटी मैजिस्टै्रट नायब तहसीलदार रूपिन्द्र सिंह ने बताया कि करियाणा, फल-सब्जी, दूध की दुकानों रोजाना सुबह 8 से 11 व शाम को 5 से 7 खुलेंगी और मैडिकल स्टोर व अस्पताल पूरा दिन खुले रहेंगे पर लोग दुकानों पर भीड़ न जुटाएं और राशन का स्टॉक ना करें। उन्होंने दुकानदारों से भी आग्रह किया है कि लोगों को उचित दूरी पर खडा करके ही राशन दें ताकि वायरस ना फैले। उन्होंने कहा कि बिना कारण शहर व सडकों पर ना आएं तथा गांव व कलॉनीयों में भी झुंडों में एकत्रित ना हो वरना पुलिस सख्ती से पेश आएगी जिसके जिम्मेवार आप स्वयं होगें।