जिले सिंह इकलौते शौर्य चक्र विजेता संविधान दिवस पर किए जाएंगे सम्मानित
26 नवंबर को पुणे के अंबेडकर भवन परिसर में समारोह का होगा आयोजन
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बोहड़ाकला के सीआरपीएफ सहायक कमांडेंट जिले सिंह हरियाणा के इकलौते शौर्य चक्र विजेता
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रोटरी क्लब ऑफ तलेगांव एमआईडीसी समग्र विकास फाऊंडेशन का कार्यक्रम
इस आयोजन में देश भर के 75 प्रतिष्ठित व्यक्तियों को सम्मानित किया जाएगा
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फतह सिंह उजाला
बोहड़ाकला/ पटौदी । 26 नवंबर का भारतीय इतिहास और आजादी के बाद एक अपना ही अलग विशेष महत्व बना हुआ है। 26 नवंबर वास्तव में संविधान दिवस के रूप में मनाया जाता आ रहा है। पीएम मोदी के द्वारा भी संविधान के समक्ष श्रद्धा पूर्वक नतमस्तक होकर ही पीएम पद की शपथ ग्रहण की गई। 26 नवंबर 2024 का दिन निश्चित रूप से पटौदी क्षेत्र के सबसे बड़े गांव बोहड़ाकला जिला गुरुग्राम और हरियाणा प्रदेश के लिए ऐतिहासिक और गौरव का दिन होगा। इस दिन गांव बोहड़ाकला के ही रहने वाले सीआरपीएफ के सहायक कमांडेंट शौर्य चक्र विजेता जिले सिंह को विशेष रूप से महाराष्ट्र के पुणे के तालेगांव दाभाड़े में ऐतिहासिक डॉक्टर भीमराव अंबेडकर हाउस में भव्य समारोह के मंच पर सम्मानित किया जाएगा।
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गौर तलब है कि भारतीय सेवा के तीनों अंगों के अतिरिक्त पैरामिलिट्री फोर्सेस कहीं जाने वाली सुरक्षा बलों में शामिल सीआरपीएफ के सहायक कमेंडेंट जिले सिंह हरियाणा के ऐसे एकमात्र जांबाज कमांडो हैं , जिनको की राष्ट्रपति के द्वारा शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया है । 26 नवंबर संविधान दिवस के मौके पर शौर्य चक्र विजेता जिले सिंह को राष्ट्रीय संविधान संवर्धन एवं संरक्षक पुरस्कार प्रदान किया जाएगा । 26 नवंबर 2024 को भारतीय संविधान की स्थापना वर्षगांठ गरिमा पूर्ण तरीके से आयोजकों के द्वारा मनाया जाने का निर्णय किया गया है । यह आयोजन रोटरी क्लब आप तालेगांव एमआईडीसी समग्र विकास फाऊंडेशन के द्वारा आयोजित किया गया है । इस गरिमा पूर्ण और राष्ट्रीय आयोजन में सह मेजबान के रूप में विश्व रतन डॉक्टर बाबासाहेब अंबेडकर स्मारक समिति तलेगांव दाभाड़े हेनेक्स इंटरप्राइजेज प्राइवेट लिमिटेड ज्ञानोदय अनुसंधान एवं प्रशिक्षण एचडी संस्थान का भी महत्वपूर्ण योगदान रहेगा ।
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26 नवंबर 2024 को राष्ट्रीय स्तर के इस आयोजन में देश भर के 75 प्रतिष्ठित व्यक्तियों को सम्मानित किया जाने का फैसला किया गया है। आयोजन समिति के द्वारा बताया गया है कि ऐसे प्रबुद्ध व्यक्ति, जांबाज सैनिक, सुरक्षा कर्मी, समाजसेवी, पथ प्रदर्शक जिनका समाज और राष्ट्र के हित में महत्वपूर्ण योगदान रहा है । राष्ट्रीय संविधान संवर्धन एवं संरक्षक पुरस्कार प्रदान किया जाएगा। यह पुरस्कार प्रकृति व्यक्तियों को उनके नियमित कर्तव्यों के साथ-साथ प्रतिष्ठित संविधान को बढ़ावा देने तथा उसकी सुरक्षा करने में अमूल्य योगदान की प्राथमिकता पर केंद्रित है।
शौर्य चक्र विजेता सहायक कमांडेंट जिले सिंह के द्वारा वर्ष 2017 में अपनी यूनिट के साथियों के साथ लेट पूरा में सीआरपीएफ कैंप में हुए आतंकी हमले में जैश ए मोहम्मद के तीन खूंखार और दुर्दांत आतंकवादियों को मौत के घाट उतारा गया। इतना ही नहीं इन आतंकवादियों को मौत के घाट उतारने के साथ ही अपने अन्य एक दर्जन साथियों की रक्षा भी की गई। यह ऑपरेशन बेहद जटिल और विकट परिस्थिति में अंजाम दिया गया। जिले सिंह की जांबाजी को देखते हुए ही राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के हाथों उनको शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया। इसी प्रकार से एक अन्य आतंकी घटना में मुठभेड़ के दौरान जिले सिंह के द्वारा बेहद खतरनाक और दुर्जनक आतंकवादी का खात्मा किया गया। इस ऑपरेशन में भी आर्मी के जवान जम्मू कश्मीर पुलिस तथा सीआरपीएफ के जवान शामिल रहे। जिले सिंह देश के आतंकवाद प्रभावित क्षेत्रों में अपनी सैन्य कौशलता सहित आतंकी अथवा दुश्मनों के प्रति राष्ट्रभक्ति का परिचय गोलियां के द्वारा दे चुके हैं । सीआरपीएफ के सहायक कमांडेंट जिले सिंह ने 26 नवंबर को पुणे में राष्ट्रीय संविधान संवर्धन एवं संरक्षक पुरस्कार मिलने पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा यह पुरस्कार संपूर्ण सुरक्षा बलों के लिए एक सिंबल बना रहेगा । वही पटौदी क्षेत्र सहित हरियाणा प्रदेश का नाम भी रोशन होगा।
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